Tuesday 9 August 2016

आखों की तकलीफ दूर, माहे रमज़ान कैसे गुजारे ..? पार्ट -01

👉🏽 माहे रमज़ान कैसे गुजारे ? ? ? 👈🏽
👉🏽 #पार्ट -01
🔹بسم الله الرحمن الرحيم
🔹الصــلوةوالسلام‎ عليك‎‎يارسول‎الله
🔹ﷺ

       👇🏼आखों की तकलीफ दूर👇🏼
जो  शख्स  माहे  रमज़ान  मुबारक का  चाँद
देख कर हम्द व षना बजा लाए और सात
मरतबा सुरे फातेहा पढ़ ले तो  उसे  महीना
भर आखों में  किसी भी किस्म की शिकायत
नहीं  होगी।
📚 नुजहतुल मजालिस, जी.1, स.575

   👇🏼आफत और बला से महफूज👇🏼
किताबुल  बरकत  में  हजरत  मसऊदी رحمت الله عليه से  मरवी है  कि जो माहे
रमजानुल मुबारक की पहली शब सूरे फतह
पढ़ता है वह साल भर हर किस्म की आफत
व बलइय्यात से महफूज रहता है
📚 (हवाला) माहे रमज़ान कैसे गुजारे 
मुसन्निफ़ अताए हुजूर मुफ़्तीए आजम हिन्द
    मौलाना मोहम्मद शाकिर अली नूरी
          अमीर ए सुन्नी दावते इस्लामी

अल्लाह عَزَّ وَجَلَّ हमे कहने सुनने से ज्यादा
अमल करनेकी तौफ़ीक़ अता करे

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किताबे: बरकाते शरीअत, बरकाते सुन्नते रसूल, माहे रामज़ान कैसें गुज़ारे, अन्य किताब लेखक: मौलाना शाकिर अली नूरी अमीर SDI हिन्दी टाइपिंग: युसूफ नूरी(पालेज गुजरात) & ऑनलाईन पोस्टिंग: मोहसिन नूरी मन्सुरी (सटाणा महाराष्ट्र) अल्लाह عَزَّ وَجَلَّ हमे कहने सुनने से ज्यादा अमल करने की तौफ़ीक़ अता करे आमीन. http://sditeam.blogspot.in